लखनऊ/चेन्नई – वरिष्ठ पत्रकार एवं संपादक सचिन श्रीवास्तव ने आज सुप्रीम कोर्ट द्वारा तमिलनाडु हिन्दू विवाह कानून (संशोधन) को मंजूरी दे दी। इस कानून में भारतीय संस्कृति के अनुसार एक पुजारी अनुष्ठान करके विवाह सम्पन्न कराता है। लेकिन अब ऐसा नहीं होगा क्योंकि सीएम स्टालिन क्रिश्चियन और मुस्लिम समुदाय के आगे नतमस्तक है वोट बैंक की राजनीति में वो हिन्दू संस्कृति को तमिलनाडु से खत्म करना चाहते हैं। जो देश के लिए घातक है।तमिलनाडु सरकार ने 1968 में सुयमरियाथाई विवाह को वैध बनाने के लिए कानून के प्रावधानों में संशोधन किया था। इसका मकसद विवाह प्रक्रिया को सरल बनाना और ब्राह्मण पुजारियों, पवित्र अग्नि और सप्तपदी (सात चरण) की अनिवार्यता को खत्म करना था। हालांकि, इन विवाहों को कानून के अनुसार पंजीकरण कराना जरूरी था।
विदेशों की तर्ज़ पर वकील करा सकेंगे दो वयस्कों का विवाह
जी हां जैसे विदेशों में वकील के माध्यम से शादियाँ होती है ठीक उसी तरह अब तमिलनाडु मे भी हिन्दुओ के साथ वही होगा जो पूर्व में हिन्दू संगठनों ने अपनी टिप्पणी व्यक्त की थी।